कॉरपोरेट जगत ने क्रिकेट या अन्य चर्चित खेलों के अलावा |अन्य पिछड़े खेलों को बढ़ावा देने के लिए समर्थन देने की पहल की हैं | शायद एशियन चैंपियन ट्रोफी में मिली भारत की जीत ने अंतत कुछ बड़े भारतीय कॉपोरेट जगत को इन खेलों को बढावा देने के लिए स्पोंसरशिप में मददगार साबित हुई|
(साईं) सूत्रों ने कहा की अभी तय समय का खाका नहीं बनाया गया हैं |पर इन खेलों मैं होकी सबसे ज्यादा लाभान्वित होगी |अगर वो अपना अच्छा प्रदर्शन इसी प्रकार जारी रखे |
(साईं)निर्देशक जनरल देश दीपक वर्मा ने कहा टेनिस और बास्केटबाल दो ऐसे खेल हैं जो कॉरपोरेट को आकर्षित कर चुके हैं| इन कॉरपोरेट घरानों ने होकी , टेनिस , बास्केटबाल , को गोद लेने की इच्छा जाहिर की हैं |(साईं) निर्देशक ने कहा की कुछ और भी हैं | जो मदद चाहते हैं|पर नहीं जानते की कहा जाना हैं |उन्होंने कहा की हम कुछ बड़े कॉरपोरेट घरानों को खेलों को ग्रहण करने के लिए सुझाव दे रहे हैं |जिन खेलों मैं विकास या बढ़त बनाने की सम्भावना हैं | उधारण स्वरुप निशानेबाज़ी अच्छा उधारण हैं| जहाँ कॉरपोरेट घराने कुछ अच्छा कर सकते हैं| इन खेलों के ज्यादातर खिलाडी सामान्यता गरीब , पिछड़ी पृष्टभूमि से आते हैं|जीको मददगार हाथो की जरुरत होती हैं|
मूल्यांकन
जिन खेलों की लोकप्रियेता भारत में न के बराबर हैं| या जिन के खिलाडी या वो दोनों हाशिये पर हैं | उन खेलों की तरफ कुछ बड़े कॉरपोरेट जगत समूह इन खेलों की तरफ स्पोंसर शिप की पहल करके इन खेलों को भी आशा की एक नयी किरण दिखाई हैं | ( साईं) या कॉपोरेट जगत की सांझा पहल की प्रशंषा की जानी चाहिए|की शुरू में इन दोनों का ध्यान इन तीन खेलों की तरफ गया हैं |और आगे भी इसी प्रकार के प्रयास जारी रहेंगे| क्युकी इन तीन खेलों के अलावा अन्य खेलों की भी दशा बहुत बुरी हैं| यदि इस प्रकार अन्य बड़े कॉरपोरेट जगत का साथ भी यदि अन्य खेलों को भी मिलने लगेगा तो वो दिन दूर नहीं जब इन पिछड़े हुए खेलों को लेकर भारत में भी बड़े-बड़े टूर्नामेंट आयोजित किये जायेंगे | और ओलंपिक में , चाइना, अमेरिका , ऑस्ट्रेलिया , आदि देशो के गोल्ड मेडल विजेताओ की पंक्ति में बड़ी शान से खड़ा होगा|
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